आंखो-देखी
जशपुर जिले में अश्वत्थामा का घाव बन चुका नेशनल हाईवे 43 पर मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय की कृपा हुई है। गड्ढेयुक्त घाव को मृदा चिकित्सा के जरिए भरा जा रहा है।जिसे देखकर राहगीर अभी राहत महसूस करते हुए भविष्य में उड़ते धूल की आशंका से घबरा भी रहे हैं।हालांकि ज्यादातर लोग इस बात को लेकर खुश हैं कि चलो सीएम साहब सड़क से आए तो इस अहिल्या बनी कुनकुरी का उद्धार होना तय हुआ।यह सुखद खबर कुनकुरी शहर से आई है।

दरअसल,तीन दिन पहले कुनकुरी विधानसभा क्षेत्र में छठ पूजा मनाने आए यहां के विधायक मुख्यमंत्री माननीय विष्णुदेव साय जी का वायुमार्ग के अलावा सड़कमार्ग से भी भ्रमण हुआ।इस दौरान उन्हें सड़क पर गड्ढों नहीं,नहीं गड्ढों पर सड़क,नहीं नहीं साफ समझें तो खराब सड़क से दो -चार होना पड़ा होगा।
यह अंदाजा लगाकर कहा जा रहा है कि खराब सड़क पर हिचकोले खाने के बाद ही तो आज सड़क के गड्ढे भरते देखे गए हैं।वैसे भी सीएम साहब के बारे में यह क्लियर बात है कि वे सहज,सरल हैं।खस्ताहाल सड़क देखने के बाद हो सकता है उन्होंने यह कहा हो कि ‘सड़क को चलने लायक तो बना दीजिए।’
अब सीएम साहब की मर्जी जानने के बाद अधिकारी हरकत में आए और इस सड़क को फिर से चलने लायक बनाने में जुट गए हैं।

VVIP सिटी होने का गौरव हासिल कर चुके कुनकुरी शहर से गुजरने वाली नेशनल हाईवे सड़क पर गड्ढे भरने का काम द्रुतगति से चल रहा है।इसे दुर्गति ना समझें।
वैसे भी कुनकुरी क्षेत्र ही नहीं अपितु समस्त जशपुर जिले को पर्यटन के क्षेत्र में,धार्मिक महत्त्व के क्षेत्र में वैश्विक पहचान देने के लिए मुख्यमंत्री जी स्वयं सक्रिय हैं।सुनने में आया है कि पंडित प्रदीप मिश्रा के बाद दिसंबर में बागेश्वर धाम से पंडित धीरेन्द्र शास्त्री आने वाले हैं।ऐसे में जशपुर जिले का नाम पूरे देश की सुर्खियों में रहेगा।
राजनीति के पंडितों को कहना है कि जिस प्रकार से मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय, मोदी की गारंटी पर सरलता और सहजता के साथ सरकार चला रहे हैं नहीं लगता कि आने वाले दिनों में उन लोगों को राहत मिल पाए जो कतार में खड़े हैं।
दस विभागों के साथ मुख्यमंत्री का ओहदा लेकर चलना हर किसी के वश की बात नहीं है।एक छोटे गांव के जमींदार परिवार से आने वाले सीएम साय सुनते सबकी हैं लेकिन करना कितना है,यह केवल वो ही तय करते हैं।
बहरहाल, हमारी सड़क पर काम चालू है।


















